सभी संप्रदायों ने दिखाई एकजुटता जनसुरक्षा और आपातकालीन सेवाओं को बेहतर बनाने सभी धर्म – संप्रदाय के प्रतिनिधि सहमत
दुर्ग । शहर के बीच से गुजरने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग 53 में रैलियों, शोभायात्राओं और जुलूसों के लिए अब वैकल्पिक मार्ग तय किया जाएगा। कलेक्टर व जिला दंडाधिकारी अंकित आनंद और पुलिस अधीक्षक अजय यादव की उपस्थिति में हुई विस्तृत चर्चा के बाद सभी धर्म, समाज ,समुदाय और संप्रदाय के प्रतिनिधियों ने सर्वसम्मति से सहमति दी है। जन सुविधा और सुरक्षा को देखते हुए सहमति प्रदान की गई। बैठक में एक-एक करके सभी समुदाय के प्रतिनिधियों ने इस विषय पर अपने विचार व्यक्त किए और प्रशासन को सहयोग देने अपनी प्रतिबद्धता जताई।
प्रतिनिधियों ने कहा कि मानव सेवा किसी भी धर्म, जाति से बढ़कर है। किसी भी समुदाय का उद्देश्य ट्रैफिक व्यवस्था बिगड़ना या आम नागरिकों को परेशान करना नहीं होता। रैली, जुलूस और शोभायात्रा से अगर किसी भी प्रकार की अव्यवस्था उत्पन्न हो रही है तो एकजुट होकर इस समस्या का हल ढूंढा जाएगा। प्रतिनिधियों ने माना कि किसी भी प्रकार की गतिविधि से राष्ट्रीय राजमार्ग में आपातकालीन सेवाओं जैसे एंबुलेंस, फायर ब्रिगेड के सुचारू रूप से संचालन में बाधा नहीं आना चाहिए। आम जनता को असुविधा से बचाने, ट्रैफिक व्यवस्था सही रखने और सड़क दुर्घटना से बचाव के लिए सर्वसम्मति से तय किया गया कि सभी संप्रदाय के लोग राजमार्गों को कम से कम बाधित करेंगे।
दुर्ग जिले के मध्य से राष्ट्रीय राजमार्ग 53 गुजरता है जिसकी लंबाई कुम्हारी टोल प्लाजा से अंजोरा तक लगभग 40 किलोमीटर है। एडिशनल एसपी ट्रैफिक बलराम हिरवानी ने बताया कि नेशनल हाइवे 53 का यह हिस्सा प्रदेश के व्यस्ततम मार्गों में से एक है। इस मार्ग पर हर रोज सैकड़ों वाहन गुजरते हैं। इस साल लगभग 160 रैलियां इस मार्ग से होकर गुजरी हैं। यह आंकड़े देश के मेट्रो शहरों से भी कहीं ज्यादा है। मेट्रो शहरों में साल भर में करीब 60 रैलियां किसी नेशनल हाइवे से होकर गुजरती हैं।
बैठक में पुलिस अधीक्षक अजय यादव ने कहा कि समय-समय पर विभिन्न सामाजिक, राजनैतिक और धार्मिक संगठनों द्वारा रैली, जुलूस, शोभायात्रा, धरना प्रदर्शन आदि का आयोजन किया जाता है। उन्होंने बताया कि अलग-अलग समुदाय और धर्म संप्रदाय के शोभा यात्रा और जुलूस पूर्व निर्धारित होत हैं, जिनका मार्ग परिवर्तन करने के लिए सभी संप्रदायों के सहयोग की जरूरत है। प्रशासन और समुदाय के प्रयासों से बिना किसी दिक्कत या परेशानी के वैकल्पिक रूट पर यह आयोजन किए जा सकते हैं। इससे धार्मिक भावनाएं भी आहत नहीं होंगी और ट्रैफिक व्यवस्था भी सुचारू रूप से चलती रहेगी। बैठक में अलग-अलग मुद्दों पर धरना प्रदर्शन, आंदोलन और हड़ताल के लिए भी स्थल निर्धारित करने के संबंध में विस्तार से चर्चा की गई। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि यातायात अव्यवस्थित होने से एक प्रांत से दूसरे प्रांत को महत्वपूर्ण सामग्री परिवहन करने वाले वाहन बाधित होते हैं। रैली के कारण उत्पन्न हुए जाम से निकलने के बाद कई बार टाइम मेकअप करने के चक्कर में वाहन चालक अपना संतुलन खो बैठते हैं जिससे कई बार भयंकर दुर्घटना हो जाती है। पिछले 1 साल में 50 से अधिक दुर्घटनाएं नेशनल हाईवे पर हुई है जिसमें 59 लोगों की जान चली गई। रैलियों और जुलूसों को पूरी तरह से इसका कारण नहीं ठहराया जा सकता लेकिन दुर्घटना की एक वजह यह भी हो सकती है। कई बार ट्रैफिक जाम हो जाने के कारण घायलों को समय पर अस्पताल पहुंचाने में दिक्कतें होती हैं। ट्रैफिक में अटकने के कारण समय और ईंधन बर्बाद होता है। प्रदूषण भी उत्पन्न होता है। ट्रैफिक जाम में दोपहिया और चार पहिया वाहन कभी-कभार गलती से एक दूसरे से टकराने लगते हैं जिसके कारण आपसी विवाद शुरू हो जाता है। इन सभी विषयों पर लंबी चर्चा के बाद सभी लोगों ने सहयोग करने पर सहमति जताई।
बैठक में कलेक्टर आनंद ने प्रतिनिधियों के सामने स्पष्ट किया कि इस बैठक का उद्देश्य धार्मिक रैली और जुलूसों को प्रतिबंधित करना बिल्कुल नहीं है। बल्कि, सभी की सहमति से बिना किसी की भावना को चोट पहुंचाए एक विकल्प की खोज करना है ताकि नेशनल हाइवे पर ट्रेफिक व्यवस्था दुरुस्त किया जा सके। सभी समुदायों के लोगों ने इस गंभीर विषय पर चर्चा के बाद हल निकालने पर सहमति जताई। पुलिस अधीक्षक अजय यादव ने भी सभी प्रतिनिधियों को सहयोग के प्रति आभार व्यक्त किया।
कलेक्टर ने लोक निर्माण विभाग बिजली विभाग और नगर निगम के अधिकारियों को निर्देश दिए कि रैली, जुलूस, शोभा यात्रा के लिए संभावित वैकल्पिक मार्गो की रेकी कर पता लगाएं कि कहां-कहां पर मरम्मत की जरूरत है। कलेक्टर ने बैठक में आए सभी संप्रदायों के प्रतिनिधियों को आश्वास्त किया कि कल से ही इसके लिए काम शुरू हो जाएगा। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि जल्द से जल्द वैकल्पिक मार्गों को चिन्हांकित कर मरम्मत का कार्य शुरू करें। ताकि किसी भी आयोजन में देरी न हो।
पटेल चौक से कचहरी अब वन वे
शहर में ट्रैफिक व्यवस्था को दुरुस्त करने जिला दंडाधिकारी अंकित आनंद ने पटेल चौक से कचहरी की ओर जाने वाले वाहनों के लिए इस रास्ते को वन वे करने और कचहरी की ओर से पटेल चौक की ओर आने वाले वाहनों को प्रतिबंधित करने का आदेश जारी कर दिया है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक द्वारा जिला दंडाधिकारी कार्यालय को प्रस्तुत प्रतिवेदन के अनुसार पटेल चौक में पांच मार्ग है और इंदिरा मार्केट और कचहरी की ओर से आने वाले वाहनों के लिए एक ही सिग्नल है। इस सिग्नल पर अत्यधिक यातायात का दबाव है। कई बार कचहरी से इंदिरा मार्केट जाने वाला रास्ता पूरी तरह से ब्लॉक हो जाता है। इस दौरान दुर्घटना की संभावना बनी रहती है। यातायात व्यवस्था में भी व्यवधान पहुंचता है। सभी बिंदुओं पर गंभीरता से विचार करने के बाद जिला दंडाधिकारी द्वारा इस आशय का आदेश जारी किया है।
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