कलेक्टर तारन प्रकाश सिन्हा ने अनुपम नगर निवासी नगर निगम राजनांदगांव की पार्षद सुनीता फडऩवीस को वैक्सीन का दूसरा डोज लगाने के बाद लोहे की वस्तुएं शरीर में चिपकने संबंधी अफवाह फैलने पर तत्काल संज्ञान लिया है। कलेक्टर के निर्देश पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मिथलेश चौधरी ने जांच के लिए टीम भेजी।

जांच के बाद मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. चौधरी ने बताया कि वैक्सीन के कारण ऐसा होना नहीं पाया गया है। पसीने या अन्य कारण से ऐसा हो गया है, यह एक समान्य प्रक्रिया है। वैक्सीन पूरी तरह से सुरक्षित है और वैक्सीन लगाने से ऐसा नहीं होता है। उन्होंने इसका खंडन किया है। पार्षद सुनीता फडऩवीस को प्रथम डोज में भी दिक्कत नहीं हुई थी। कलेक्टर तारन प्रकाश सिन्हा ने नागरिकों से अपील की है वैक्सीन से संबंधित अफवाह और भ्रम में न आएं। कोविड-19 संक्रमण से सुरक्षा के लिए सभी नागरिकों को वैक्सीन लगाना चाहिए।

ऐसे फैली अफवाह

राजनांदगांव की एक महिला पार्षद सुनीता फड़नवीस ने दावा किया है कि वैक्सीनेशन के बाद उनके शरीर में चुंबकीय शक्ति आ गई है। उनका शरीर चुंबक की तरह काम कर रहा है। इसके कारण सिक्के, लोहे और स्टील के बर्तन शरीर में चिपक रहे हैं। हाथ हिलाने पर भी यह चीजें चिपकी रहती हैं। शुक्रवार को महाराष्ट्र के नासिक में भी ऐसी ही अफवाह फैली थी। राजस्थान के सीकर में भी एक दंपती ने ऐसा दावा किया था।

राजनांदगांव में वार्ड नंबर 23 की पार्षद सुनीता का कहना है कि वह कोरोना से बचाव के लिए वैक्सीन की दोनों डोज लगवा चुकी हैं। उन्हें दूसरी डोज 2 मई को लगाई गई। आज सुबह नासिक की खबर पढ़ने के बाद उन्होंने खुद पर ट्राई किया तो पता चला कि बायां हाथ मैग्नेट की तरह काम कर रहा है। पहले सिक्के चिपकाकर देखने के बाद बर्तन भी चिपकाए। मेडिकल टीम का कहना है कि पसीने या अन्य कारण से ऐसा होता है। वैक्सीन के कारण ऐसा होने की बात कहना बेबुनियाद है।